मुंबई: शिवसेना के बागी एकनाथ शिंदे ने दलबदल विरोधी कानून के तहत दो-तिहाई के मैजिक फिगर से अधिक अपने समर्थकों की घोषणा की है। जिसके बाद मुंबई और दिल्ली दोनों जगह राजनितिक गतिविधि तेज हो गयी है। उधर समर्थित विधायकों और सांसदों के साथ शिंदे की सोशल मीडिया के जरिये पार्टी में अपनी पकड़ वाली तस्वीर से मुंबई में सियासी संकट गहराता जा रहा है। महाराष्ट्र में उठे इस सियासी संकट के बीच उद्धव ठाकरे ने आपात बैठक बुलाई है।
बैठक में निर्णय लिया गया कि अगर बागी MLA वापस आते हैं तो वह (उद्धव) कांग्रेस और एनसीपी वाली गठबंधन छोड़ने पर विचार करेगी। जबकि महाराष्ट्र में गहराए इस सियासी संकट पर गठबंधन के दो अन्य घटक दल कांग्रेस और एनसीपी ने शिवसेना के साथ रहने की बात कही।
घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया देते हुए, शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा कि जो लोग चले गए थे वे शिवसेना नहीं हैं। असली शिवसेना वही है जो हमने कल मुंबई की सड़कों पर देखी। हमारी पार्टी मजबूत है। कुछ विधायकों के हमें छोड़ने का मतलब यह नहीं है कि संगठन कमजोर है। साथ हीं राउत ने इस पुरे घटनाक्रम का जिम्मेदार भाजपा को बताया।
वहीं भाजपा ने महाराष्ट्र में राजनीतिक संकट को शिवसेना का आंतरिक मामला बताते हुए कहा है की बीजेपी का इससे कोई लेना-देना नहीं है। भाजपा फ़िलहाल राज्य में सरकार बनाने का दावा नहीं कर रही है।
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